उत्तरप्रदेश के प्रयागराज के माफिया डॉन व गैंगस्टर (Atiq ahmed code word) अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की कुछ दिनों पहले गोली मार कर हत्या कर दी गई थी. इससे पहले अतीक का बेटा असद भी अपने साथी गुलाम के साथ यूपी एसटीएफ (UP STF) के एनकाउंटर में ढेर हो गया था. माफिया डॉन की अतीक की पत्नी शाइस्ता और दूसरे कई अपराधियों की यूपी पुलिस सरगर्मी से तलाश कर रही है|
यूपी पुलिस फरार अपराधियों को तलाश करने के लिए दिल्ली पुलिस के साथ-साथ दूसरे राज्यों की पुलिस के साथ भी लगातार संपर्क में है. ऐसे में जब पुलिस को लेडी डॉन शाइस्ता की तलाश सरगर्मी से है, तब यूपी पुलिस को अतीक के घर से एक अहम डायरी का एक हिस्सा भी हाथ लगा है. पुलिस को इस बरामद डायरी के खास हिस्से से अतीक के अतीत के आपराधिक गुनाहों की जानकारी मिली है. डायरी का यह हिस्सा उमेश पाल हत्याकांड (Umesh Pal Murder Case) में चीख-चीख कर कई बड़े खुलासे कर रहा है|
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पुलिस सूत्रों की माने तो अतीक अहमद और उसका भाई अशरफ भले ही मौत की आगोश में सो गए हों, लेकिन उमेश पाल हत्याकांड की उसने किस तरह से जेल में बैठकर साजिश रची थी. इस बड़ा खुलासा हुआ है. अतीक जेल में रहकर कोड वर्ड के जरिए अपनी क्रिमिनल फैमिली के साथ संपर्क में था. (Atiq ahmed code word) इन सभी सीक्रेट कोड वर्ड से वो पल-पल की जानकारी अपने पास रखे हुए था. इसको उजागर करने वाला अतीक के घर से बरामद डायरी का वो हिस्सा News18 के हाथ लगा है. लेकिन अभी तक पुलिस के हत्थे कोई भी नहीं लगा हैं|
सूत्र बताते हैं कि अतीक और उसके भाई, बेटों सब के पास एप्पल के फोन (iphone) थे. साबरमती जेल में बंद अतीक ने अपने भाई अशरफ, बेटे असद और हत्याकांड में शामिल सभी लोगों को कोड नेम दिया हुआ था. सभी को एप्पल फोन दिलवाए गए थे. खुद अतीक के पास जेल में करीब 3 एप्पल फोन थे. सभी आरोपी फेस टाइम पर कोड नेम से ID बनाकर बात कर रहे थे. ये वो डायरी का पन्ना है जो अतीक के घर से बरामद हुआ था और इसी डायरी में छुपे हैं अतीक के गुनाहों का राज़|
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इन कोड वर्ड से एक दूसरे से संपर्क साधते थे सभी क्रिमिनल:-
BADE-006- ये फेस टाइम ID और कोड नेम अतीक अहमद का था.
CHOTE-007-ये कोड नेम अशरफ का था.
Ansh_yadav00- ये कोड नेम अतीक के बेटे असद का था.
XYZZ1122- ये कोड नेम उमेश पाल की रेकी करने वाले आरोपी नियाज़ का था.
Bihar Tower- ये कोड नेम शूटर अरमान का था.
Advo010- ये कोड नेम अतीक के तथाकथित वकील खान सौलत हनीफ का था.
Patle-009- ये कोड नेम अतीक के जेल में बंद बेटे अली का था. यानी ये साफ है कि उमेश पाल हत्याकांड के दौरान अली भी बाकी आरोपियों के साथ संपर्क में था.
सभी आरोपी I-phone के फेस टाइम (face time) पर इसी कोड नेम ID का इस्तेमाल कर एक दूसरे से लगातार हत्याकांड के पहले और बाद में एक दूसरे से बातचीत कर रहे थे या संपर्क में थे. अतीक ने हत्याकांड के तुरंत बाद अपने I-phone से घर फोन कर मुबारकबाद दी थी. (Atiq ahmed code word) पुलिस के लिए तफ्तीश में यह कोड वर्ड काफी मददगार साबित हुए और इन्ही कोड वर्ड की मदद से इन सभी आरोपियों ने उमेश पाल हत्याकांड की साज़िश भी रची होगी|