नई दिल्ली। heart patients: देश के कई हिस्सों में तेज़ी से बढ़ता तापमान और गर्मी, लोगों के लिए बड़ी परेशोनी का कारण बना हुआ है। तेज़ धूप और लू का यह मौसम हीट-स्ट्रोक और हीट एक्सॉशन का कारण बनता है, जिससे लोग गंभीर रूप से बीमार पड़ सकते हैं। हेल्थ एक्सपर्ट्स भी सभी को खास बचाव करने की सलाह दे रहे हैं।
लंबी और स्वस्थ जिंदगी के लिए एक्सपर्ट्स लोगों से अपने दिलों की रक्षा(heart patients) के लिए अतिरिक्त कदम उठाने का आग्रह भी कर रहे हैं। उम्रदराज़ लोगों और ऐसे लोगों के लिए सावधानियां विशेष रूप से महत्वपूर्ण हैं, जो हाई ब्लडप्रेशर, मोटापे या हृदय रोग से जूझ रहे हैं, या जिन लोगों को पहले स्ट्रोक आ चुका है।
गर्म मौसम के दौरान इन 5 बातों का रखें ख्याल:
- तेज़ धूप में न निकलें: बेहतर है कि दिन में 12 से 3 बजे तक घर/ऑफिस से बाहर न निकलें। क्योंकि इस समय सूरज सबसे तेज़ होता है, जो आपके दिल से जुड़ी दिक्कतों का जोखिम बढ़ा सकता है।
- गर्मी के हिसाब से कपड़े पहनें: हल्के वज़न, हल्के रंग, जैसे कॉटन जैसा फैब्रिक गर्मी के लिए बेस्ट होता है। हैट, कैप और सनग्लासेज़ ज़रूर पहनें। बाहर जाने से पहले कम से कम 15 SPF की सनस्क्रीन ज़रूर पहनें। अगर कहीं बाहर हैं तो हर दो घंटे में सनस्क्रीन लगाएं।
- पानी का सेवन ज़्यादा करें: शरीर को हाइड्रेट रखें। हर थोड़ी देर में पानी पिएं। बाहर जाने या एक्सरसाइज़ करने से पहले और बाद में पानी ज़रूर पिएं। कैफीन युक्त या शराब न पिएं।
- ब्रेक लें: छांव या ऐसी जगह पर जाएं जो ठंडी हो, कुछ मिनटों के लिए रुक जाएं, पानी पिएं और फिर काम शुरू करें।
- डॉक्टर की सलाह का पालन करें: डॉक्टर ने आपको जो दवाएं लेने की सलाह दी है, उसका पालन करें।
हीट एक्सॉशन के लक्षण
- सिर दर्द
- पसीने में नहा जाना
- त्वचा का ठंडा और नम होना
- ठंड लगना
- चक्कर आना या बेहोश हो जाना
- पल्स का कमज़ोरी या तेज़ होना
- मांसपेशियों में अकड़न होना
- सांस लेने में दिक्कत होना
- मतली, उलटी या दोनों का होना
अगर आप इस तरह के लक्षणों को महसूस करते हैं, तो किसी ठंडी जगह की ओर चले जाएं, एक्सरसाइज़ कर रहे हैं तो रुक जाएं और खुद पर पानी डालकर और पानी पीकर शरीर को फौरन ठंडा करने की कोशिश करें। आप मेडिकल मदद भी ले सकते हैं।
हीट स्ट्रोक के लक्षण
- गर्म और रूखी त्वचा, जिसमें पसीना नहीं आता
- पल्स का तेज़ हो जाना
- बेहोशी या कंफ्यूज़न
- तेज़ बुख़ार
- तेज़ सिर दर्द
- मतली, उल्टी या दोनों महसूस होना
अगर आप इस तरह के लक्षणों का अनुभव करते हैं, तो फौरन मेडिकल मदद लें। हीट स्ट्रोक और स्ट्रोक दो अलग चीज़ें हैं। स्ट्रोक तब होता है, जब मस्तिष्क की कोई रक्तवाहिका फट जाती है या थक्का जम जाता है, जिससे मस्तिष्क में ऑक्सीजन का प्रवाह कम हो जाता है।(heart patients)
Disclaimer: लेख में उल्लिखित सलाह और सुझाव सिर्फ सामान्य सूचना के उद्देश्य के लिए हैं और इन्हें पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। कोई भी सवाल या परेशानी हो तो हमेशा अपने डॉक्टर से सलाह लें।