लखनऊ। गोसाईगंज इलाके के एक मदरसे में दो बच्चों के पैरों में जंजीर बांधने के बाद ताला जड़कर उन्हें पढ़ाया जा रहा था। शुक्रवार को मौका पाते ही बच्चे किसी तरह भाग निकले। बाहर उन्हें कुछ राहगीरों ने रोका और मोबाइल में वीडियो बनाकर इंटरनेट मीडिया पर वायरल कर दिया। इसके बाद पुलिस हरकत में आयी। पुलिस दोनों को थाने ले गए। वहां पता चला कि बच्चे अकसर भाग जाते थे। इसलिए उनके माता पिता के कहने पर बांधा गया था। मामले में कोई अभी तक तहरीर नहीं मिली है। इसलिए मुकदमा भी नहीं दर्ज किया गया।
रनमऊ गांव के रहने वाले शेरा का बेटा शहवाज और बाराबंकी के जरमापुर में रहने वाला राजू शिवलर में स्थित मदसरे में पढ़ाई करते हैं। शुक्रवार दोपहर राजू और शहवाज दोनों मदरसे की दीवार फांदकर भाग निकले। शहवाज के पैर में जंजीर बंधी थी और ताला जड़ा था। शहवाज भागते हुए रास्ते में गिर पड़ा। यह देख कुछ लोग पहुंचे और उन्होंने शहवाज के पैर में जंजीर बंधी देखी तो उसका मोबाइल से वीडियो बना लिया।
शहवाज ने बताया कि मदरसे के मौलाना (शिक्षक) ने पैरों में जंजीर बांधी है। मदरसे के अंदर पैरों में जंजीर बांधकर और ताला जड़कर उन्हें रखा जाता है। शहवाज के शरीर पर चोटों के निशान भी मिले। स्थानीय लोगों ने मरदसे के अंदर बच्चों को प्रताड़ित किए जाने का आरोप लगाते हुए वीडियो इंटरनेट मीडिया पर वायरल कर दिया।
वायरल वीडियो की जानकारी होते ही इंस्पेक्टर गोसाईगंज शैलेंद्र गिरी ने संज्ञान लिया। पुलिस ने मौके से दोनों बच्चों को लेकर थाने पहुंचे। इसके बाद उनके घरवालों को सूचना दी गई। इंस्पेक्टर ने बताया कि शहवाज के पिता शेरा ने बताया कि उनका बच्चा पढ़ाई नहीं करता है। वह अकसर मदरसे से भाग आता था। जबकि मदरसे में रहने की भी व्यवस्था है। इसके बाद वह भाग जाता था। पढ़ाई नहीं करता है। यही कहना राजू के परिवारजन का है।
इंस्पेक्टर ने बताया कि घरवालों का कहना है कि उन्होंने ही मदरसे के शिक्षकों से कहा था कि दोनों बच्चों को बांधकर रखा जाए। राजू दो दिन पहले भी भागा था। गुरुवार को शहवाज भी घर से मदसरे में पहुंचा था। शनिवार को भी वह भाग गया था। इसकी शिकायत मदरसे के शिक्षकों ने शहवाज के घरवालों से की थी। जिसके बाद घरवालों ने कहा कि शहवाज को मदरसे में बांध दे। जब बांधा गया तो फिर वह भाग निकले। यही बात दोनों के घरवालों ने लिखित में भी दी है। तहरीर मिलने पर मुकदमा दर्ज किया जाएगा।