चौधरी देवीलाल विश्वविद्यालय एससी-बीसी टीचिंग एसोसिएशन (Teaching Association) ने सीडीएलयू के कुलपति डा. अजमेर सिंह मलिक की एक्सटेंशन के लिए प्रदेश सरकार व केंद्र सरकार को पत्र लिखा। उपरोक्त जानकारी संगठन के प्रधान डा. राममेहर आर्य ने प्रेस को जारी एक विज्ञप्ति में कही। उन्होंने बताया कि सीडीएलयू के कुलपति डा. अजमेर सिंह मलिक के कुशल मार्गदर्शन में सीडीएलयू में विकास की गति को नया आयाम मिला है तथा विश्वविद्यालय में कुलपति द्वारा कई नई विभागों की स्थापना करना वास्तव में सराहनीय काम है, वहीं परिसर में आई टी सेल भवन का निर्माण आधुनिक सूचना क्रांति तथा विश्वविद्यालय के डिजिटल अभियान का एक साकार सपना है।
उन्होंने कहा कि सीडीएलयू में एनएएसी ग्रेड के लिए कुलपति द्वारा रिसर्च वर्क तथा अनेक प्रकार के शोध गतिविधियों को निरंतर कार्यशालाओं द्वारा बढ़ाया जा रहा है, जोकि सीडीएलयू की भविष्य में नई विकास की क्रांति का सूचक है। डा. आर्य ने कहा विश्वविद्यालय के इतिहास में पहली बार दलित प्रोफेसर को वास्तव में मान-सम्मान मिला है।
विज्ञापन– क्या आप कलाकार बनाना चाहते है ? क्या आप फिल्म जगत में अपना नाम बनाना चाहते है?
दलित प्राध्यापकों को विश्वविद्यालय में अनेक प्रकार के पद भार देकर उनका मान-सम्मान दिया गया, जिसकी टीचिंग एसोसिएशन (Teaching Association) द्वारा उत्थान के लिए किए गए विकास कार्य के लिए स्वागत करती है तथा पिछली भर्तियों में रोस्टर प्रणाली का पालन करते हुए 3 सहायक प्रोफेसर नियुक्त किए गए, वहीं छात्रों के लिए हॉस्टल में अनेक प्रकार की सुविधा देना तथा तथा कुलपति डॉक्टर अजमेर सिंह मलिक के अथक प्रयासों से विश्वविद्यालय परिसर में एक नई शैक्षणिक भवन का निर्माण हुआ जोकि है एक उपलब्धि है डा. आर्य ने कहा कि उनके मतभेद हैं, परंतु कोई भी मतभेद नहीं है क्योंकि कुलपति डा. अजमेर सिंह ईमानदार छवि के व्यक्ति रहे हैं।
वहीं प्रेस प्रवक्ता डा. वंदना ने कहा कि कुलपति डा. अजमेर सिंह मलिक छात्रों को उचित मार्गदर्शन के साथ-साथ भविष्य निर्माण के लिए नए-नए अपने अनुभव के लिए प्रेरित करते हैं तथा विश्वविद्यालय को प्रदेश में एक उचित मान सम्मान दिलाने के लिए सदैव कार्यरत रहते हैं जोकि उनकी मजबूत इच्छा शक्ति का आप प्रमाण है, वहीं टीचिंग एसोसिएशन ने कुलपति डा. अजमेर सिंह जोकि प्रदेश की प्रसिद्ध शिक्षाविद हैं, उनके द्वारा किए गए विकास कार्यों में शिक्षा के प्रति उनकी दूरदर्शिता को देखते हुए संगठन ने उनके एक्सटेंशन के लिए मुख्यमंत्री राज्यपाल तथा केंद्र सरकार को पत्र लिखा है कि उनका लाभ विश्वविद्यालय विश्वविद्यालय के विकास में मिले।