वाराणसी : ज्ञानवापी प्रकरण में एडवोकेट कमिश्नर की कार्यवाही शनिवार सुबह आठ से दोपहर 12 बजे तक होगी। एडवोकेट कमिश्नर अजय कुमार मिश्र ने शुक्रवार को सभी पक्षकारों को इस बाबत लिखित सूचना दी। शनिवार को निर्धारित समय में कार्यवाही पूरी न होने की स्थिति में अगले दिन फिर कार्यवाही की जाएगी। वह सुनवाई के लिए 17 मई को अपनी रिपोर्ट अदालत में प्रस्तुत करेंगे।
कार्यवाही स्थल पर मुकदमे के वादी, प्रतिवादी, अधिवक्ता, एडवोकेट कमिश्नर व सहायक एडवोकेट कमिश्नर तथा कार्यवाही से संबंधित व्यक्तियों के अलावा कोई उपस्थित नहीं होगा। एडवोकेट कमिश्नर पक्षकारों द्वारा बताए गए बिंदुओं पर फोटो लेने व वीडियोग्राफी करने के लिए स्वतंत्र होंगे। किसी स्थान पर रुकावट डालने के लिए ताला आदि बंद किया जाता है तो जिला प्रशासन को अधिकार होगा कि ताले को खुलवा या तोड़वाकर कार्यवाही कराए। कार्यवाही में किसी की ओर से बाधा या रुकावट पैदा की जाती है तो जिला प्रशासन एफआइआर कराकर कड़ी कार्रवाई करेगा।
एडवोकेट कमिश्नर अजय कुमार मिश्र का कहना है कि अदालत के आदेश का अक्षरश: पालन होगा। ईमानदारी व निष्पक्षता के साथ कार्यवाही संपादित कराई जाएगी। कोशिश होगी कि समयसीमा में कार्यवाही पूरी कर रिपोर्ट अदालत में प्रस्तुत की जाए।
यह है ज्ञानवापी प्रकरण :
दिल्ली की राखी सिंह सहित मंजू व्यास, लक्ष्मी देवी, सीता साहू व रेखा पाठक ने 18 अगस्त 2021 को सिविल जज (सीनियर डिविजन) रवि कुमार दिवाकर की अदालत में याचिका दाखिल कर मां शृंगार गौरी के दैनिक दर्शन पूजन व अन्य देवी-देवताओं के विग्रहों को संरक्षित करने की मांग की थी। अदालत ने वस्तुस्थिति की जांच के लिए एडवोकेट कमिश्नर नियुक्त किया था।
गत छह मई को एडवोकेट कमिश्नर की कार्यवाही पूरी नहीं हो सकी। सात मई को गतिरोध उत्पन्न होने के कारण कार्यवाही शुरू ही नहीं हो सकी। इसी दिन प्रतिवादी इंतजामिया मसाजिद कमेटी की ओर से एडवोकेट कमिश्नर को बदलने की अपील की गई। कोर्ट ने 12 मई को एडवोकेट कमिश्नर को बदलने की याचिका खारिज कर उन्हें कार्यवाही पूरी करने के आदेश दिया था। साथ ही अदालत ने विशाल सिंह को विशेष एडवोकेट कमिश्नर व अजय प्रताप सिंह को सहायक एडवोकेट कमिश्नर नियुक्त किया।