रायबरेली। कुछ विभागों में भ्रष्टाचार इस कदर हावी है कि बिना रिश्वत के गरीबों तक सरकारी योजनाएं पहुंचती ही नहीं। राजस्व विभाग से संबंधित ऐसा ही एक मामला तब सामने आया, जब लेखपाल का एक वीडियो वायरल हुआ। इसमें वह फरियादी से कहते सुनाई पड़ रहे हैं कि पांच लाख का लाभ लेना है तो 50 हजार रुपये देने ही पड़ेंगे। एसडीएम ने लेखपाल को न सिर्फ निलंबित किया, बल्कि उसके खिलाफ एफआइआर भी लिखाई गई है। दैनिक जागरण ऐसे किसी भी वीडियो की पुष्टि नहीं करता है।
मामला अलीनगर असकरनपुर का है। शासन की ओर से जरूरतमंदों को पट्टे पर सरकारी भूमि देने का आदेश है। इसी से संबंधित यह प्रकरण भी रहा। सोमवार की देर शाम हल्का लेखपाल अमर सिंह यादव का एक वीडियो वायरल हुआ। इसमें वह कुछ ग्रामीणों के बीच तखत पर बैठे सिगरेट पीते दिख रहे हैं। ग्रामीणों से कह रहे हैं कि तुमको अगर मैं पांच लाख का फायदा दूंगा तो तुमको 50 हजार रुपये तो निकालने ही पड़ेंगे। सीधी, खुली और एकदम स्पष्ट बात है।
वीडियो वायरल होने के बाद हुई कार्रवाई : बातचीत के दौरान वहीं पर मौजूद किसी शख्स ने इस पूरे घटनाक्रम को अपने मोबाइल में कैद कर लिया। इसके बाद वायरल कर दिया। यह वीडियो जिला और तहसील प्रशासन तक भी पहुंचा। तब एसडीएम राजेश कुमार ने इसे लिया और मंगलवार को कार्रवाई कर दी। कोतवाल शिव शंकर सिंह ने बताया कि राजस्व निरीक्षक सुशील सिंह की तहरीर पर लेखपाल अमर सिंह के खिलाफ भ्रष्टाचार अधिनियम के तहत रिपोर्ट दर्ज कराई गई है।
इनकी भी सुनें : लेखपाल का रिश्वत मांगने वाला वीडियो वायरल हुआ है। वीडियो के आधार पर कार्रवाई की जा रही है। भ्रष्टाचार और अमर्यादित व्यवहार कतई बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। संबंधित लेखपाल को निलंबित कर दिया गया है। उनके खिलाफ एफआइआर भी लिखाई गई है। – राजेश कुमार, एसडीएम