सीतापुर। डिघरा में युवक की बलि देने की कोशिश का मामला सामने आया है। युवक को बलि की भनक लगी तो शौच जाने के बहाने चकमा देकर वहां से खिसक लिया। परिवारीजन इस मामले की शिकायत लेकर पुलिस के पास पहुंचे तो महोली कोतवाली में पीड़ित परिवार के लोगों की ही जमकर पिटाई कर दी गई। आरोप है कि पुलिस ने जबरन समझौता भी करा दिया।
डिघरा के नंदराम पुत्र चरंजू के अनुसार 22 जून को गांव का ही राहुल जरूरी काम बताकर उसे बुला ले गया था। सुबह 10 बजे से देर रात तक उसे घर में बिठाए रखा। तीन लोग घर में गड्ढा खोद रहे थे। आरोपित की मां मुझ पर चावल छिड़कती रही। नंदराम का आरोप है कि वे गड्ढे में दबाकर मेरी बलि देना चाहते थे। किसी तरह बचकर घर आया और आपबीती परिवारजन से बताई। मामले की शिकायत कोतवाली पुलिस से की।
पीड़ित को पीटा, भाई और बहन को कोतवाली में बिठायाः नंदराम की मां सोमवती का आरोप है कि शिकायत के बाद भी पुलिस ने ध्यान नहीं दिया तो वे लोग कोतवाली पहुंचे। पुलिस ने आरोपितों पर कार्रवाई न करके पीड़ित नंदराम को बिठा लिया। भाई अनिल और बहनोई को भी बिठा लिया गया। मां सोमवती का कहना है कि पुलिस ने सुलह-समझौते लिए नंदराम को जमकर पीटा। उसके शरीर पर चोट के निशान देखे जा सकते हैं। मारपीट कर हस्ताक्षर करा लिए।
आरोपित के घर में थे तांत्रिकः नंदराम के भाई अनिल का आरोप है कि राहुल पुत्र पंजाबी के घर तांत्रिक आए थे। मंत्रों का उच्चारण करते हुए बलि दिए जाने की बात कह रहे थे। घर के करीब 12 फिट गहरा गड्ढा खोदा गया है।
आपसी विवाद है। सुलह-समझौता हो गया है। पुलिस पर लगाए जा रहे आरोप गलत हैं। जांच की जा रही है। – अनूप शुक्ला, कोतवाल महोली