नई दिल्ली। छत्रसाल स्टेडियम में युवा पहलवान सागर धनखड़ हत्याकांड से जुड़े गवाहों की सुरक्षा के मामले पर दिल्ली पुलिस ने दिल्ली हाई कोर्ट में जवाब दाखिल करके कहा कि सभी पीड़ितों व गवाहों को सुरक्षा दी गई है। पुलिस ने यह भी कहा कि इसके साथ ही मामले की सुनवाई करने वाली रोहिणी अदालत की सुरक्षा भी बढ़ा दी गई है। सागर धनखड़ हत्या मामले में पहलवान सुशील कुमार मुख्य आरोपितों में से एक हैं।
न्यायमूर्ति जसमीत सिंह के समक्ष पेश रिपोर्ट में पुलिस ने बताया कि मामले से जुड़े सभी लोगों की सुरक्षा के लिए दिल्ली पुलिस के साथ ही अर्धसैनिक बल को अदालत परिसर की सुरक्षा में तैनात किया गया है। इस दौरान विशेष चेकिंग की जाती है। पुलिस ने कहा कि पर्याप्त सुरक्षा इंतजाम को देखते हुए पीड़ितों, गवाहों की सुरक्षा अब कोई मुद्दा नहीं है और वे बेखौफ गवाही दे सकते हैं।
मालूम हो कि कुछ दिन पहले ही युवा पहलवान सागर धनखड़ हत्याकांड में मुख्य आरोपित ओलिंपिक पदक विजेता पहलवान सुशील कुमार की जमानत याचिका का विरोध करते हुए दिल्ली पुलिस ने हाई कोर्ट में स्थिति रिपोर्ट दाखिल की है। दिल्ली पुलिस ने कहा कि अगर सुशील को जमानत पर रिहा किया गया तो उसके भागने की आशंका है। दिल्ली हाई कोर्ट में दाखिल स्थिति रिपोर्ट में पुलिस ने कहा कि पीड़ितों और घायलों के साथ-साथ जांच के दौरान दर्ज अन्य सार्वजनिक गवाहों के बयानों से स्पष्ट है कि सुशील कुमार ने अन्य आरोपितों के साथ वह अपराध करने की साजिश रची थी। इतना ही नहीं, वही आरोपितों का नेतृत्व भी कर रहा था और वारदात का सरगना था।
पुलिस ने कहा कि सह-आरोपित के मोबाइल फोन में मिले एक मिनट के वीडियो में भी सुशील कुमार के मौके पर मौजूद होने की पुष्टि हुई है। इस वीडियो में वह सह-आरोपितों के साथ न सिर्फ हाथ में डंडा लिए हुए दिख रहा है, बल्कि पीड़ितों को पीटता भी दिखाई दे रहा है। घटना के दौरान सुशील के फोन की लोकेशन शालीमार बाग, माडल टाउन और छत्रसाल स्टेडियम में सभी संबंधित स्थानों पर पाई गई थी।
स्थिति रिपोर्ट में पुलिस ने यह भी कहा कि सागर धनखड़ की वीभत्स तरीके से हत्या की गई। सुशील पर गंभीर आरोप हैं और इस मामले में अब तक 18 आरोपितों की गिरफ्तारी की जा चुकी है। वारदात में शामिल अन्य आरोपितों की पहचान हुई है और गिरफ्तारी के लिए जांच जारी है।